तने जोई मन हरखाय गिरनार, आतम सुवासित थाय गिरनार..(२)
मारा दिल मां तुं समाय गिरनार, देवो तारा गुण गाय गिरनार...
पावन शिखरे नेम बिराजे, दीक्षा केवल भूमि जे गाजे,
तारी गोदमां नेमनुं निर्वाण...
तने जोई मन हरखाय गिरनार, आतम सुवासित थाय गिरनार...
शाश्वत सुखनो दातार, हैये वसतो तुं गिरनार,
तुजने चाहुं छुं वारंवार, धबके दिलमां तुं गिरनार...
तारक तीरथ मां छे नाम, नेमजी नुं साधना नुं धाम..(२)
महा पुरुषो शुरवीरो तुज रक्षा काजे थया छे कुरबान...कुरबान
शाश्वत सुखनो दातार...
अविरत सौंदर्य ताहरु, लोभावे मन माहरु..(२)
तारी छबी हदये वसावी , मनमां नेमि नामने समावुं...समावुं
शाश्वत सुखनो दातार...
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